राहुल गांधी को पांचवी पंक्ति में बिठाने पर भड़के Sharad Pawar, कहा ‘यह नेता प्रतिपक्ष का अपमान है’

स्वतंत्रता दिवस के मौके पर विपक्ष के नेता राहुल गांधी को पांचवीं पंक्ति में बैठाने को लेकर एक नया विवाद खड़ा हो गया है. राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और समाजवादी पार्टी के प्रमुख Sharad Pawar ने इस घटना पर कड़ी आपत्ति जताई है.

उन्होंने इसे नेता प्रतिपक्ष के पद का अपमान बताया और केंद्र सरकार पर तीखा हमला किया.

Sharad Pawar ने केंद्र सरकार पर साधा निशाना

शरद पवार ने इस घटना पर नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा “प्रधानमंत्री का पद एक संवैधानिक पद है और इसी तरह नेता प्रतिपक्ष का भी पद है. इन दोनों पदों की गरिमा बनाए रखना अत्यंत महत्वपूर्ण है.” पवार ने आगे कहा कि स्वतंत्रता दिवस जैसे महत्वपूर्ण राष्ट्रीय समारोह में नेता प्रतिपक्ष को उचित सम्मान मिलना चाहिए था जैसा कि पहले की सरकारों में होता था.

उन्होंने अटल बिहारी वाजपेयी और मनमोहन सिंह की सरकारों का उदाहरण देते हुए कहा कि उस समय नेता प्रतिपक्ष को कैबिनेट मंत्रियों के साथ बैठने की जगह दी जाती थी.

कांग्रेस ने जताई थी नाराजगी

कांग्रेस पार्टी ने भी इस घटना पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है. कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा “राहुल गांधी को पांचवीं लाइन में बैठाकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी कुंठा को उजागर किया है लेकिन इससे हमारे नेता को कोई फर्क नहीं पड़ता. लोकतंत्र और लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं के प्रति इस सरकार के रवैये में कोई सम्मान नहीं दिखता.”

सुप्रिया ने यह भी उल्लेख किया कि सिर्फ राहुल गांधी ही नहीं बल्कि कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को भी पांचवीं पंक्ति में बैठाया गया, जो इस सरकार के मानसिकता का एक और प्रमाण है.

लोकतंत्र की जड़े हो रही हैं कमजोर: Sharad Pawar

शरद पवार ने अपने बयान में इस बात पर भी जोर दिया कि संविधान पर खतरा अभी टला नहीं है. उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव में भाजपा को बहुमत नहीं मिला लेकिन इसके बावजूद संविधान और लोकतांत्रिक मूल्यों के प्रति इस सरकार का रवैया चिंताजनक है. पवार ने स्पष्ट किया कि विपक्ष के नेता का सम्मान करना संविधान का सम्मान करना है और इस प्रकार की घटनाएं लोकतंत्र की जड़ों को कमजोर करने का काम करती हैं.

यह भी पढ़े: आरजी कर मेडिकल कॉलेज हिंसा पर कोलकाता पुलिस ने दी सफाई, ‘क्राइम सीन से कोई छेड़खानी नहीं हुई’

यह विवाद अब सिर्फ एक सीटिंग अरेंजमेंट का मामला नहीं रहा बल्कि इसने भारतीय राजनीति में विपक्ष के प्रति सरकार के रवैये पर एक महत्वपूर्ण सवाल खड़ा कर दिया है.

यह भी पढ़े: स्वतंत्रता दिवस समारोह में Rahul Gandhi को पीछे बैठने पर मचा बवाल

powered by Advanced iFrame. Get the Pro version on CodeCanyon.