झारखंड में विधानसभा चुनाव की तैयारियां जोर पकड़ रही हैं और इस राजनीतिक सरगर्मी के बीच CM Hemant Soren की कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी से हुई मुलाकात ने सुर्खियां बटोरी हैं.
मंगलवार को हुई इस मुलाकात को भले ही शिष्टाचार भेंट बताया जा रहा हो लेकिन इसके पीछे विधानसभा चुनाव की रणनीति की चर्चा का संकेत भी मिल रहा है.
Hemant Soren News: मौजूदा कार्यकाल 5 जनवरी 2025 को समाप्त हो रहा है
झारखंड विधानसभा का मौजूदा कार्यकाल 5 जनवरी 2025 को समाप्त हो रहा है और संभावना है कि चुनाव दिसंबर में ही हो सकते हैं. इस संदर्भ में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व से मुलाकात को राजनीतिक दृष्टिकोण से काफी अहम माना जा रहा है. मुलाकात के बाद हेमंत सोरेन ने कहा कि यह एक शिष्टाचार मुलाकात थी लेकिन उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि जल्द ही विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस और झारखंड मुक्ति मोर्चा के बीच चर्चा शुरू होगी.
इस मुलाकात से एक दिन पहले सीएम सोरेन अजमेर दरगाह पहुंचे थे जहां उन्होंने राज्य और देश में अमन और शांति की दुआ मांगी. यह भी चर्चा का विषय बना क्योंकि इससे सोरेन की चुनावी तैयारियों और धार्मिक स्थलों के दौरे के महत्व को रेखांकित किया जा रहा है.
इस बीच पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन के झारखंड मुक्ति मोर्चा छोड़कर भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने से जेएमएम को बड़ा झटका लगा है. चंपई सोरेन ने पार्टी में अपमान का आरोप लगाते हुए जेएमएम का साथ छोड़ा. इस घटना ने राज्य की राजनीति में हलचल पैदा कर दी है. हालांकि हेमंत सोरेन ने इस पर पलटवार करते हुए कहा कि किसी के जाने से पार्टी पर कोई असर नहीं पड़ेगा और उनकी पार्टी पूरी मजबूती के साथ चुनाव में उतरेगी.
Hemant Soren News: इस साल के अंत तक विधानसभा चुनाव होने की संभावना
भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने के बाद चंपई सोरेन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के प्रति अपनी आस्था व्यक्त की है. उन्होंने कहा कि वे इनके नेतृत्व और मार्गदर्शन में झारखंड में बीजेपी की सरकार बनाने का संकल्प लेते हैं. चंपई सोरेन का यह कदम झारखंड की राजनीति में एक महत्वपूर्ण मोड़ साबित हो सकता है विशेष रूप से विधानसभा चुनावों से ठीक पहले. झारखंड में इस साल के अंत तक विधानसभा चुनाव होने की संभावना है.
राज्य की 81 विधानसभा सीटों के लिए चुनाव की तारीखों का आधिकारिक ऐलान भले ही चुनाव आयोग ने अभी तक नहीं किया है लेकिन कयास लगाए जा रहे हैं कि महाराष्ट्र के साथ ही झारखंड में भी जल्द ही चुनाव की तारीखों की घोषणा हो सकती है.
2020 के विधानसभा चुनाव
पिछले 2020 के विधानसभा चुनाव में झारखंड मुक्ति मोर्चा ने 30 सीटों पर जीत हासिल की थी जबकि कांग्रेस को 16 सीटें मिली थीं. वहीं, 2019 के लोकसभा चुनावों में बीजेपी ने झारखंड में सबसे अधिक 8 सीटों पर कब्जा जमाया था. जेएमएम को 3 सीटें मिलीं जबकि कांग्रेस को केवल 2 सीटों पर संतोष करना पड़ा था. इन आंकड़ों के आधार पर आगामी चुनाव में बीजेपी और जेएमएम-कांग्रेस गठबंधन के बीच कड़ी टक्कर देखने को मिल सकती है.
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चंपई सोरेन का बीजेपी में शामिल होना और उनके द्वारा प्रधानमंत्री मोदी और अमित शाह के प्रति जताई गई आस्था बीजेपी के लिए एक नया ऊर्जा स्रोत बन सकता है. यह देखना दिलचस्प होगा कि इस बदलाव का आगामी चुनावों में क्या असर पड़ता है और क्या वाकई बीजेपी झारखंड में सत्ता में वापसी कर पाती है. चुनावी बिसात बिछ चुकी है और आने वाले दिनों में राजनीतिक गतिविधियां और भी तेज़ हो सकती हैं.