राजनीतिक दलों एवं सरकार के साथ ED-CBI के खिलाफ भी SC में अपील

New Delhi: ED-CBI: वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण ने पटना में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में इलेक्टोरल बॉन्ड घोटाले की जांच के लिए पीएल दाखिल किया.

उन्होंने एनडीए सरकार को बिना किसी नाम के उल्लेख किए सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि राजनीतिक दलों ने इलेक्टोरल बॉन्ड का द्वारा धन संग्रह किया. न केवल राजनीतिक दलों ने बल्कि अलग-अलग राज्यों की सरकारें भी इस तरह के बॉन्ड के माध्यम से धन जुटाया.

ED-CBI: विश्व का सबसे बड़ा घोटाला है यह

बिहार इंडस्ट्रीज एसोसिएशन सभागार में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा गया कि इलेक्टोरल बॉन्ड के माध्यम से 16500 करोड़ के बॉन्ड खरीदे गए जिसमें 10 हजार करोड़ की घूस के एवज में लाखों करोड़ के कांट्रैक्ट दी गईं. इससे भ्रष्टाचार की भारी आलोचना की गई जिसके द्वारा कांपनियों ने घूस लेकर टैक्स चोरी की और लाखों लोगों को जानलेवा दवाइयाँ बेची. इसे देश का सबसे बड़ा घोटाला माना गया.

CBI के सेवानिवृत्त अधिकारियों की जांच टीम करेगी

प्रशांत भूषण ने उज्ज्वल किया कि केंद्र सरकार की निष्पक्ष जांच एजेंसियों ने कैसे सरकार को फायदे पहुंचाए हैं. उन्होंने बताया कि एसआईटी जांच के बाद पता चलेगा कि कौन वह अधिकारी हैं जो इस चुनावी बॉन्ड के माध्यम से राजनीतिक दलों को फायदा पहुंचाते हैं. इसमें सीबीआई के सेवानिवृत अधिकारियों की टीम भी जांच करेगी और जो दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ सुप्रीम कोर्ट कार्रवाई करेगी.

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