Home झारखंड बिहार राजनीति मनोरंजन क्राइम हेल्थ राशिफल
---Advertisement---

दिलीप जायसवाल बने मंत्री, अब कौन संभालेगा अध्यक्ष की कुर्सी? रेस में ये 6 नाम सबसे आगे

On: November 28, 2025 1:00 PM
Follow Us:
Bihar BJP: दिलीप जायसवाल बने मंत्री, अब कौन संभालेगा अध्यक्ष की कुर्सी? रेस में ये 6 नाम सबसे आगे
---Advertisement---

Bihar News: बिहार विधानसभा चुनाव में NDA की बड़ी जीत और नई सरकार बनने के साथ ही भारतीय जनता पार्टी में बड़े संगठनात्मक बदलावों की अफवाहें तेज़ हो गई हैं। मौजूदा प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल को नीतीश कुमार कैबिनेट में उद्योग मंत्री बनाया गया है। BJP के “एक व्यक्ति, एक पद” सिद्धांत के तहत, अब यह पक्का माना जा रहा है कि बिहार BJP को जल्द ही नया “कप्तान” मिल जाएगा। दिलीप जायसवाल के मंत्री पद की शपथ लेने के साथ ही नए प्रदेश अध्यक्ष के लिए राजनीतिक गलियारों में आधा दर्जन नामों पर चर्चा शुरू हो गई है। ये नाम जातिगत समीकरणों और कैबिनेट में भागीदारी के आधार पर लिए जा रहे हैं।

add

1. नीतीश मिश्रा (ब्राह्मण चेहरा): सबसे प्रबल दावेदार

रेस में सबसे आगे झंझारपुर से विधायक और पूर्व मंत्री नीतीश मिश्रा का नाम चल रहा है।

  • वजह: नीतीश मिश्रा को इस बार मंत्रिमंडल में जगह नहीं मिली है। मिथिलांचल इलाके की 37 में से 31 सीटों पर एनडीए की जीत में ब्राह्मण समाज की बड़ी भूमिका मानी जा रही है। पूर्व सीएम जगन्नाथ मिश्रा के बेटे होने के नाते उनकी छवि और प्रशासनिक अनुभव उनके पक्ष में जाता है।

2. मिथिलेश तिवारी (ब्राह्मण चेहरा): संगठन के सिपाही

बैकुंठपुर से चुनाव जीते मिथिलेश तिवारी का नाम भी रेस में है। वे लंबे समय से संगठन में विभिन्न पदों पर काम कर रहे हैं और पार्टी के कई अभियानों को सफल बनाने में उनकी भूमिका रही है।

3. जनक राम (दलित चेहरा): जातीय समीकरण साधने की कोशिश

पूर्व मंत्री और सांसद रहे जनक राम को भी इस बार मंत्रिमंडल से बाहर रखा गया है। एनडीए सरकार में 5 दलित मंत्री हैं, लेकिन भाजपा कोटे से सिर्फ एक (लखेंद्र पासवान) हैं। ऐसे में दलित वोट बैंक को साधने के लिए पार्टी जनक राम को संगठन की कमान सौंप सकती है।

4. संजीव चौरसिया (OBC): संघ परिवार की पृष्ठभूमि

पटना की दीघा सीट से लगातार तीसरी बार जीते संजीव चौरसिया भी दौड़ में शामिल हैं। उनके पिता गंगा प्रसाद जनसंघ के समय से पार्टी से जुड़े रहे हैं। हालांकि, डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी और मंत्री दिलीप जायसवाल के ओबीसी होने के कारण संजीव चौरसिया का समीकरण थोड़ा कमजोर पड़ सकता है।

5. विवेक ठाकुर (भूमिहार):

नवादा सांसद विवेक ठाकुर के नाम की भी चर्चा है। उनके पिता सीपी ठाकुर प्रदेश अध्यक्ष रह चुके हैं। लेकिन, भूमिहार समाज से आने वाले विजय कुमार सिन्हा के डिप्टी सीएम बनने के कारण विवेक ठाकुर की संभावना कम आंकी जा रही है।

6. अन्य नाम:

प्रेम रंजन पटेल और नंदकिशोर यादव के नामों पर भी दबी जुबान में चर्चा है, लेकिन उम्र और नए चेहरों की मांग इसमें आड़े आ सकती है।

सवर्ण अध्यक्ष बनने की संभावना ज्यादा

राजनीतिक विशेषज्ञों, जैसे अरुण पांडे और प्रिय रंजन भारती का मानना है कि मंत्रिमंडल में ओबीसी, ईबीसी और दलितों को पर्याप्त प्रतिनिधित्व मिला है। ऐसे में पार्टी अपने परंपरागत ‘सवर्ण वोट बैंक’ को खुश करने के लिए प्रदेश अध्यक्ष की कुर्सी किसी सामान्य वर्ग के नेता को दे सकती है।

फैसला दिल्ली से होगा

हालांकि, अंतिम निर्णय केंद्रीय नेतृत्व (पीएम मोदी और अमित शाह) के हाथों में है। माना जा रहा है कि भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष के चयन और खरमास के बाद बिहार को नया प्रदेश अध्यक्ष मिल सकता है।

यह भी पढ़े: बदल जाएगा लालू परिवार का पता, 19 साल बाद छिन गया ’10 सर्कुलर रोड’, अब यहां होगा नया ठिकाना

 

 

Join WhatsApp

Join Now

Join Telegram

Join Now

Leave a Comment