झारखंड में राजनीति का माहौल गरमा गया है जहां मुख्यमंत्री Hemant Soren ने भारतीय जनता पार्टी भाजपा पर तीखा हमला बोला है.
Hemant Soren का आरोप: भाजपा जाति-धर्म के नाम पर समाज को बांट रही
तोरपा में आयोजित ‘आपकी सरकार आपके द्वार 2024’ कार्यक्रम के दौरान हेमंत सोरेन ने भाजपा पर आरोप लगाया कि वह जाति और धर्म के नाम पर राज्य में लोगों को बांटने की कोशिश कर रही है. उन्होंने कहा कि भाजपा केवल वोट लूटने की रणनीति पर काम कर रही है और अपने बड़े नेताओं को झारखंड में भेजकर समाज को विभाजित करना चाहती है.
हेमंत सोरेन ने जोर देकर कहा कि झारखंड एक बहादुर राज्य है जिसने कभी किसी के आगे घुटने नहीं टेके हैं और न ही आगे झुकेगा. उन्होंने जनता को आश्वस्त करते हुए कहा कि उन्हें किसी से डरने की जरूरत नहीं है क्योंकि उनकी सरकार उनके साथ खड़ी है. इस कार्यक्रम के चौथे चरण में मुख्यमंत्री ने खूंटी और सिमडेगा के लोगों के बीच योजनाओं का शिलान्यास और उद्घाटन किया साथ ही परिसंपत्तियों का वितरण भी किया.
सोरेन ने याद दिलाया कि 2021 में खूंटी की वीर भूमि उलिहातु से इस कार्यक्रम की शुरुआत की गई थी और तब से उनकी सरकार जनहित में कार्य कर रही है.
मुख्यमंत्री ने 2019 में मिले जनादेश का उल्लेख करते हुए कहा कि उनकी सरकार ने कोरोना महामारी के दौरान भी राज्य की जनता की सेवा में कोई कमी नहीं छोड़ी. उन्होंने विशेष रूप से झारखंड की महिलाओं को सशक्त बनाने की बात कही और यह भी बताया कि कैसे संक्रमण काल में गांव की दीदियों ने लोगों के लिए खाना बनाकर संकट का सामना किया था.
शिवराज सिंह का पलटवार: राज्य की माटी, रोटी और बेटी संकट में
दूसरी ओर भाजपा के चुनाव प्रभारी शिवराज सिंह चौहान ने हेमंत सोरेन सरकार पर कड़ा हमला बोला. चौहान ने कहा कि झारखंड की माटी, रोटी और बेटी संकट में हैं. उनका आरोप है कि राज्य में विदेशी घुसपैठिए आकर न केवल राज्य की सुरक्षा बल्कि यहां के लोगों के रोजगार पर भी खतरा पैदा कर रहे हैं. शिवराज सिंह ने जनता से वादा किया कि भाजपा की सरकार बनने पर इन समस्याओं का समाधान किया जाएगा और हर गरीब को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत पक्का मकान मिलेगा.
‘आपकी सरकार आपके द्वार’ कार्यक्रम में जनता से सीधा संवाद
साथ ही मकान निर्माण के लिए रेत मुफ्त में उपलब्ध कराई जाएगी. चुनावी मौसम में दोनों दलों के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है. हेमंत सोरेन जहां भाजपा पर समाज को बांटने का आरोप लगा रहे हैं वहीं भाजपा राज्य की सुरक्षा और रोजगार को लेकर अपनी रणनीति पेश कर रही है. आने वाले दिनों में झारखंड की राजनीति में और अधिक तीखे हमले और वाद-विवाद देखने को मिल सकते हैं जिसका सीधा असर चुनावी परिणामों पर पड़ सकता है.