झारखंड उच्च न्यायालय ने पेयजल एवं स्वच्छता तथा उत्पाद व मद्य निषेध मंत्री Yogendra Prasad को नोटिस जारी किया है। यह नोटिस पूर्व विधायक डॉ. लंबोदर महतो की याचिका पर सुनवाई के बाद जारी किया गया। न्यायालय ने मंत्री को छह सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल करने का आदेश दिया है।
क्या है मामला?
याचिकाकर्ता डॉ. लंबोदर महतो ने आरोप लगाया है कि योगेंद्र प्रसाद ने झारखंड राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष पद पर रहते हुए विधानसभा चुनाव लड़ा, जो कि लाभ के पद की श्रेणी में आता है।
- आरोप है कि जब तक उनका नामांकन पत्र दाखिल हुआ और उसकी जांच हुई, तब तक उनका इस्तीफा स्वीकृत नहीं हुआ था।
- याचिका में यह भी कहा गया है कि चुनाव लड़ने पर उठी आपत्तियों को निर्वाचन अधिकारियों ने जानबूझकर अनदेखा किया।
- इस मामले में झारखंड के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी, बोकारो जिला निर्वाचन पदाधिकारी और तेनुघाट के सहायक निर्वाचन पदाधिकारी को भी पार्टी बनाया गया है।
Yogendra Prasad News: 21 फरवरी को जारी हुआ नोटिस
हाईकोर्ट ने 21 फरवरी को ही मंत्री योगेंद्र प्रसाद को नोटिस जारी कर दिया था। अब उन्हें छह हफ्तों में जवाब दाखिल करना होगा।
विधानसभा में मंत्री के जवाब पर उठे सवाल, सरयू राय ने बताया “सफेद झूठ”
झारखंड विधानसभा में जमशेदपुर पश्चिमी के विधायक सरयू राय ने सरकार के जवाब पर सवाल उठाए हैं।
क्या है विवाद?
सरयू राय ने एमजीएम मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल के नए भवन में पानी की आपूर्ति को लेकर सवाल उठाए थे।
- उन्होंने पूछा कि पानी की समस्या के कारण अस्पताल चालू क्यों नहीं हो रहा?
- सरकार ने जवाब दिया कि एलएंडटी (L&T) कंपनी द्वारा पानी आपूर्ति की अस्थायी व्यवस्था की गई है।
- सरयू राय ने इसे “गुमराह करने वाला उत्तर” बताया और आरोप लगाया कि सरकार ने सीधे यह स्वीकार नहीं किया कि अस्पताल पानी की समस्या के कारण चालू नहीं हो पा रहा।
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भूमिगत जल के अवैध उपयोग का भी आरोप
सरयू राय ने आरोप लगाया कि बिना अनुमति के एमजीएम अस्पताल परिसर में पांच डीप बोरिंग कराए जा चुके हैं, जबकि कुल 10 बोरिंग की योजना है।
- बिना सेंट्रल ग्राउंड वाटर बोर्ड की अनुमति लिए बोरिंग किया गया।
- सरकार ने जवाब दिया कि बोरिंग एलएंडटी ने कराया है और मानगो नगर निगम को 4.27 करोड़ रुपये दिए गए हैं।
- सरयू राय ने इसे “सफेद झूठ” बताया और कहा कि यदि 10 डीप बोरिंग होंगे, तो आसपास के इलाकों में जल संकट उत्पन्न हो जाएगा।
सरयू राय ने सरकार को चेताया
उन्होंने कहा कि सरकार विधानसभा में भले ही गुमराह कर रही हो, लेकिन कानूनी कार्रवाई से नहीं बच पाएगी।
“स्वास्थ्य विभाग और ठेकेदार एलएंडटी को कानून का सामना करना पड़ेगा।”
इस मुद्दे पर विधानसभा अध्यक्ष से संज्ञान लेने की अपील भी की गई है।