Chapra: परसा प्रखंड के दो पंचायत में बाढ़ से कोहराम मच गया है। लोगों का जन जीवन पूरी तरह से अस्त व्यस्त हो गया है।चारों तरफ हाहाकार मचा हुआ है। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के लोग घर की छतों पर शरण लिए हुए है।
सड़क व नहर के किनारे अस्थायी टेंट बना कर किसी तरह जीवन यापन कर रहे है। इसमें मवेशियों का देख भाल करना बहुत ही कष्टमय हो गया है। बहुत से गांव टापू में तब्दील हो गया है।
परसा विधानसभा के बलिगांव, मुरहिया, परसौना, परसादी, बारवे, कोहवा, मनशाबाबा सहित दर्जनों गांवो में पूर्ण रूप से प्रभावित है। कई लोग बांध पर शरण लिए हुए हैं तो कई अपनी घर की छत पर राहत के लिए टकटकी लगाए हुए हैं। लगातार जलस्तर बढ़ने के कारण ग्रामीण डर के मारे गांव छोड़कर पलायन कर रहे हैं।
बाढ़ में घिरे हजारों लोग अपने परिवार के साथ ऊंचे स्थानों की ओर पलायन कर गये है। जो लोग बचे है उनको प्रशासन द्वारा कोई मदद नहीं मिलने से पीड़ितों में आक्रोश व्याप्त है। तमाम पीड़ितों ने आरोप लगाया है कि तीन दिन पहले अंचल पदाधिकारी रश्म अदायगी के लिए पीड़ित क्षेत्र में आये थे। पर प्रशासन की तरफ से बाढ़ पीड़ितों को कोई लाभ नहीं मिल पा रहा है। बाढ़ पीड़ित खुले आसमान के नीचे,ऊंचे स्थानों और बांधों पर शरण लिये हुये है। उनके पास न तो खाने के लिए राशन है और न ही जरुरत के अन्य सामान।
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