हजारीबाग: हजारीबाग के शेख भिखारी मेडिकल कॉलेज परिसर में स्थापित संजीवनी सेवा कुटीर को लेकर झारखंड की राजनीति में घमासान मच गया है। सदर विधायक प्रदीप प्रसाद द्वारा कुछ माह पूर्व शुरू की गई इस निशुल्क सेवा को हटाने के निर्देश राज्य के स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी ने दिए हैं, जिसके बाद प्रशासन द्वारा विधायक को सेवा कुटीर हटाने का पत्र भी भेजा गया है।
इस मुद्दे पर अब दोनों नेताओं के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। शनिवार को आयोजित प्रेस वार्ता में विधायक प्रदीप प्रसाद ने स्वास्थ्य मंत्री पर सीधा हमला करते हुए कहा, “मैं धमकी दे रहा हूं स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी को कि सेवा कुटीर ऐसे ही निरंतर कार्य करता रहेगा। यहां से सेवा कुटीर किसी भी कीमत पर नहीं हटेगा। उन्हें जो उखाड़ना है उखाड़ लें।”
प्रसाद ने बताया कि सेवा कुटीर में अब तक 6000 से अधिक मरीजों को निशुल्क सहायता दी जा चुकी है और इस कार्य में 12 युवा 24 घंटे सेवा में तत्पर रहते हैं। उन्होंने बताया कि हाल ही में सेवा कुटीर में एयर कंडीशनर भी लगाया गया है ताकि मरीजों और उनके परिजनों को किसी प्रकार की असुविधा न हो।
विधायक ने मंत्री इरफान अंसारी पर आरोप लगाते हुए कहा कि यदि उन्हें वास्तव में लोगों की चिंता है, तो उन्हें और भी बड़े स्तर पर सेवा कुटीर स्थापित करना चाहिए, ना कि पहले से चल रही समाजसेवी पहल को बंद कराने का प्रयास करना चाहिए।
मंत्री अंसारी द्वारा लगाए गए इस आरोप पर कि सेवा कुटीर में केवल हिंदू मरीजों की मदद की जाती है, विधायक प्रसाद ने कड़े शब्दों में प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “हम धर्म नहीं, इंसानियत के आधार पर सेवा करते हैं। हमारे पास 6000 लोगों का डाटा है, कोई भी आकर देख सकता है कि किस धर्म के लोग यहां लाभान्वित हुए हैं। यह सेवा सभी के लिए है, किसी विशेष धर्म के लिए नहीं।”
इस विवाद ने हजारीबाग की राजनीति में नई हलचल पैदा कर दी है। एक तरफ स्थानीय लोग सेवा कुटीर की उपयोगिता और जरूरत को समर्थन दे रहे हैं, वहीं दूसरी ओर प्रशासनिक कार्रवाई को लेकर कई सवाल उठाए जा रहे हैं। अब देखना यह होगा कि इस मुद्दे पर राज्य सरकार क्या रुख अपनाती है और सेवा कुटीर का भविष्य क्या होता है।